Dainik Bhaskar Dainik Bhaskar

Dainik Bhaskar NEET विवाद पर CJI की बेंच के सामने चौथी सुनवाई:कोर्ट के आदेश पर NTA ने रिलीज किया सिटी-सेंटर वाइज रिजल्ट, रीएग्जाम पर फैसला संभव

NEET विवाद पर आज सुप्रीम कोर्ट में 40 से ज्यादा याचिकाओं पर सुनवाई होनी है। CJI चंद्रचूड़ की बेंच के सामने NEET पर ये चौथी सुनवाई है। आज रीएग्जाम पर फैसला आ सकता है। पिछली सुनवाई 18 जुलाई को हुई थी। इस दौरान सुप्रीम कोर्ट ने नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) को 20 जुलाई तक NEET UG एग्‍जाम का सिटी और सेंटरवाइज रिजल्‍ट जारी करने का आदेश दिया था। केंद्र सरकार ने कहा है कि 700 से ज्यादा स्कोर करने वाले कैंडिडेट्स पूरे देश में बंटे हुए हैं। इससे ये पता चलता है कि ये देश की मेरिट लिस्ट में सिर्फ देश के कोचिंग हब के बच्चे नहीं हैं। NTA ने माना था गोधरा, पटना में गड़बड़ी हुई, यहां कोई टॉपर नहीं NEET परीक्षा 4,750 सेंटर्स पर 5 मई को हुई थी। इसमें 24 लाख कैंडिडेट्स शामिल हुए थे। NTA ने सिटी-सेंटर वाइज रिजल्ट जारी कर दिया है। NTA ने सुप्रीम कोर्ट को दिए हलफनामे में ये माना था कि गोधरा और पटना के एग्‍जाम सेंटर्स पर गड़बड़ी हुई थी। गोधरा और हजारीबाग सेंटर्स से कोई भी कैंडिडेट टॉपर नहीं है। हरियाणा के झज्‍जर एग्‍जाम सेंटर से भी टॉपर नहीं हरियाणा के झज्‍जर के हरदयाल पब्लिक स्‍कूल सेंटर से एक साथ 6 टॉपर्स आने से रिजल्‍ट पर सवाल खड़े हुए थे। रिपोर्ट्स के मुताबिक सभी ने 720 में से 720 मार्क्‍स स्‍कोर किए थे। सेंटर वाइज रिजल्‍ट में अब इस सेंटर पर एग्‍जाम देने वाले 494 कैंडिडेट्स में से एक भी कैंडिडेट का स्‍कोर 720 नहीं है। पूरा रिजल्ट एनालिसिस यहां देखें क्‍यों जारी हुआ स्‍टेट वाइज रिजल्‍ट? रिजल्‍ट सेंटर या स्‍टेट वाइज जारी करने के पीछे सुप्रीम कोर्ट का क्‍या मकसद है? जानिए सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट विराग गुप्‍ता से... NEET मामले में अब तक 53 लोग गिरफ्तार CBI ने पेपर लीक के मुख्य आरोपी - शशिकांत पासवान को 20 जुलाई को पटना से गिरफ्तार किया। ये NIT जमशेदपुर से BTech ग्रेजुएट है। इसके अलावा राजस्थान के भरतपुर मेडिकल कॉलेज से दो MBBS स्‍टूडेंट्स को भी गिरफ्तार किया गया है। सेकेंड ईयर स्‍टूडेंट कुमार मंगलम बिश्‍नोई और फर्स्‍ट ईयर स्‍टूडेंट दीपेंद्र शर्मा 5 मई को हजारीबाग में मौजूद थे। ये सॉल्‍वर का काम कर रहे थे। इसी दिन NEET UG का एग्‍जाम था। ये पेपर चुराने वाले पंकज कुमार के लिए सॉल्‍वर का काम कर रहे थे। पंकज को पहले गिरफ्तार किया जा चुका है। अब तक देश के 7 राज्यों से 53 लोग गिरफ्तार हो चुके हैं।

Dainik Bhaskar बाबा विश्वनाथ की मंगला आरती हुई:काशी में चारों तरफ सिर्फ भक्त; रात से ही लगी कतारें; लखनऊ में मनकामेश्वर के बाहर 2 किमी लंबी कतार

आज सावन का पहला सोमवार है। काशी में बाबा विश्वनाथ की मंगला आरती हो गई। मंदिर के अंदर से लेकर पूरा शहर भक्तों से भरा है। मंदिर के आसपास पैर रखने की जगह नहीं है। रात से ही कांवड़िए गंगा जल लेकर बाबा के जलाभिषेक के लिए कतार में लग गए। कांवड़ियों पर फूल बरसाकर उनका स्वागत किया गया। काशी के घाटों पर स्नान करने वालों की भीड़ है। काशी के अलावा प्रदेशभर के शिवालयों में हर-हर, बम-बम की गूंज है। कानपुर में परमट मंदिर के बाहर 1 किमी लंबी लाइन है। यहां गंगा स्नान के बाद भक्त दर्शन के लिए पहुंच रहे हैं। इधर, लखनऊ में मनकामेश्वर मंदिर में भी रात 2 बजे से कतार लग गई। सुबह 3 बजे यहां कतार 2 किलोमीटर लंबी पहुंच गई। यूपी में सावन के पहले सोमवार पर 1.5 करोड़ भक्त जलाभिषेक कर सकते हैं। कांवड़ यात्रा के तीन बड़े मार्ग हैं। पहला- गाजियाबाद से मुजफ्फरनगर होते हुए श्रद्धालु हरिद्वार पहुंच रहे हैं। दूसरा- सेंट्रल यूपी में कानपुर से बाराबंकी के लोधेश्वर महादेव मंदिर तक का है। तीसरा- श्रद्धालु प्रयागराज में संगम तट से जल भरकर वाराणसी पहुंच रहे हैं। मार्गों पर एक लेन कांवड़ियों के लिए बुक है। ड्रोन से निगरानी की जा रही है।

Dainik Bhaskar अयोध्या सांसद अवधेश प्रसाद बन गए सेलिब्रिटी:यूपी में राहुल-अखिलेश के बाद सबसे ज्यादा पूछ-परख; जानें सपा इनके सहारे क्या हासिल कर रही

18वीं लोकसभा का पहला दिन...सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव सदन में एंट्री करते हैं। उनके एक हाथ में संविधान की प्रति, तो दूसरे में अवधेश प्रसाद का हाथ था। सदन में राहुल गांधी और अखिलेश यादव के साथ अवधेश प्रसाद पहली कतार में बैठे दिखते हैं। 20 जुलाई को महाराष्ट्र के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे ने भी अवधेश प्रसाद को सम्मानित किया। अयोध्या यानी भगवान श्रीराम की नगरी से जीत हासिल करने वाले अवधेश प्रसाद सियासी सेलिब्रिटी बन गए हैं। विपक्षी दलों में कांग्रेस के नेता राहुल गांधी और सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के बाद सबसे ज्यादा किसी को अहमियत मिल रही है, तो वह हैं अवधेश प्रसाद। दिल्ली हो या मुंबई, बिहार हो या पुणे, हर जगह लोग उनसे मिलना चाहते हैं। उनका सम्मान करना चाहते हैं। देश ही नहीं, विदेश से भी अवधेश प्रसाद के पास फोन आ रहे हैं। 9 बार विधायक रहे और पहली बार सांसद बने अवधेश प्रसाद अचानक सपा की राजनीति के केंद्र में क्यों हैं? पढ़िए... पहले 3 तस्वीरों में देखिए अवधेश प्रसाद का कद अवधेश की अयोध्या जीत पर विदेशी मीडिया में क्या छपा? न्यूयॉर्क टाइम्स ने अपनी खबर में लिखा था- नरेंद्र मोदी के चारों ओर अजेयता की आभा टूट गई है। मंगलवार (4 जून) को भाजपा ने अपनी सबसे पसंदीदा सीट अयोध्या खो दी है। यह यूपी से भाजपा के लिए चुनावी झटका है। पाकिस्तान अखबार डॉन ने लिखा- भाजपा ने अयोध्या में हार स्वीकार कर ली है, जहां राम मंदिर का उद्घाटन किया गया था। राहुल गांधी कहते हैं कि मतदाताओं ने भाजपा को दंडित किया है। विशेष रूप से यूपी की अयोध्या सीट हार गई। वह निर्वाचन क्षेत्र, जहां भाजपा की प्रतिष्ठित परियोजना अयोध्या राम मंदिर है। यह कई लोगों के लिए झटका है। यही वजह है, अयोध्या जीत के बाद अवधेश प्रसाद की सोशल मीडिया पर फॉलोअर्स की संख्या बढ़ गई है। जीत से पहले फेसबुक पर उनके 30 हजार फॉलोअर्स थे, जो अब बढ़कर 40 हजार से ज्यादा हो गए हैं। वहीं, सोशल मीडिया X पर भी यह संख्या बढ़कर 20 हजार तक हो गई है। अवधेश के जरिए क्या हासिल करना चाहती है सपा? 79 साल के अवधेश प्रसाद की जीत ने समाजवादी पार्टी में एक अलग तरह का उत्साह पैदा कर दिया। जिस अयोध्या को भाजपा चुनाव से पहले भुनाने की कोशिश कर रही थी, उसी अयोध्या को सपा ने चुनाव के बाद केंद्र में रखा है। लोकसभा में सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अपना भ

Dainik Bhaskar इलेक्टोरल बॉन्ड पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई आज:याचिकाकर्ता की मांग- कोर्ट की निगरानी में SIT जांच हो, पार्टियों से पैसों की वसूली हो

इलेक्टोरल बॉन्ड के मामले पर सुप्रीम कोर्ट में आज फिर सुनवाई होनी है। NGO कॉमन कॉज और सेंटर फॉर पब्लिक इंटरेस्ट लिटिगेशन (CPIL) ने बॉन्ड के लेनदेन को लेकर सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में SIT जांच की मांग की है। CJI डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की बेंच इस याचिका की सुनवाई करेगी। दोनों NGO की ओर से एडवोकेट प्रशांत भूषण ने यह याचिका लगाई है। कोर्ट ने याचिका स्वीकार करते हुए कहा कि इससे जुड़ी बाकी याचिकाओं को भी एक साथ सुना जाएगा। मार्च 2024 में इलेक्टोरल बॉन्ड का डेटा सामने आने के बाद यह याचिका लगाई गई। इसमें दो मांगें रखी गई हैं। पहला- इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए कॉर्पोरेट और राजनीतिक दलों के बीच लेन-देन की जांच SIT से कराई जाए। SIT की निगरानी सुप्रीम कोर्ट के रिटायर जज करें। दूसरी मांग है कि आखिर घाटे में चल रहीं कंपनियों (शैल कंपनियां भी शामिल) ने पॉलिटिकल पार्टीज को कैसे फंडिंग की। अधिकारियों को निर्देश दिया जाए की पॉलिटिकल पार्टियों से इलेक्टोरल बॉन्ड में मिली राशि वसूल करें। क्योंकि यह अपराध से जरिए कमाई गई राशि है। फायदे के लिए की गई फंडिंग याचिकाकर्ताओं का दावा है कि कंपनियों ने फायदे के लिए पॉलिटिकल पार्टियों को बॉन्ड के जरिए फंडिंग की। इसमें सरकारी काम के ठेके, लाइसेंस पाने, जांच एजेंसियों (CBI, IT, ED) की जांच से बचने और पॉलिसी में बदलाव शामिल है। आरोप है कि घटिया दवाईयां बनाने वाली कई फार्मा कंपनियों ने इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदे जो भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 का उल्लंघन है। वित्त मंत्री ने कहा था- हम इलेक्टोरल बॉन्ड फिर से लाएंगे सुप्रीम कोर्ट की इलेक्टोरल बॉन्ड स्कीम पर रोक लगाने के बाद वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (वर्तमान सरकार में भी वित्त मंत्री) ने हिंदुस्तान टाइम्स को दिए इंटरव्यू में कहा था कि अगर हम सत्ता में आए तो इलेक्टोरल बॉन्ड स्कीम को फिर से वापस लाएंगे। इसके लिए पहले बड़े स्तर पर सुझाव लिए जाएंगे। सरकार के दोबारा से इलेक्टोरल बॉन्ड लाने की बात पर कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने कहा कि इस बार वे कितना लूटेंगे। पूरी खबर पढ़ें... इलेक्टोरल बॉन्ड्स से जुड़े केस में अब तक क्या हुआ... 21 मार्च 2024: स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) ने 21 मार्च को इलेक्टोरल बॉन्ड से जुड़ा पूरा डेटा इलेक्शन कमीशन को सौंपा था। इसके बाद आयोग ने इसे पब्लिक किय

Dainik Bhaskar नूंह में कर्फ्यू जैसे हालात के बीच निकली ब्रजमंडल यात्रा:साधु-संतों के काफिले में मौजूद रही पुलिस गाड़ियां; 4 घंटे में पूरी, इंटरनेट खुला

हरियाणा के नूंह में पिछले साल हुई हिंसा के बाद सोमवार (22 जुलाई) को फिर पांडवकालीन शिव मंदिरों में कर्फ्यू जैसे हालात के बीच ब्रजमंडल यात्रा निकाली गई। यात्रा का टाइम सुबह 10 बजे का था, लेकिन करीब 3 घंटे की देरी के बाद यात्रा नलहड़ेश्वर मंदिर में जलाभिषेक के बाद शुरू हुई। इसके बाद पुलिस की गाड़ियों के साथ साधु संतों और श्रद्धालुओं का काफिला फिरोजपुर झिरका के झिरकेश्वर मंदिर और फिर पुन्हाना के सिंगार श्रृंगेश्वर महादेव मंदिर​​ पहुंचा। यहां यात्रा संपन्न हुई। इस दौरान कोई उपद्रव की खबर सामने नहीं आई। इस 80 किलोमीटर लंबी यात्रा के लिए प्रशासन की तरफ से 5 घंटे का समय तय किया गया था, लेकिन यह 4 घंटे में ही पूरी हो गई। वहीं हिंसा के आशंका मद्देनजर प्रशासन ने यहां सोमवार शाम 6 बजे तक इंटरनेट बंद किया। इसके बाद इंटरनेट चालू कर दिया गया। इसके साथ नूंह में 2 हजार पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई। अरावली की पहाड़ियों की ड्रोन के जरिए निगरानी रखी गई। यात्रा को दोनों तरफ से पुलिस ने सिक्योरिटी कवर दिया। यात्रा को लेकर बीते कल ऑल इंडिया इमाम ऑर्गेनाइजेशन के चेयरमैन डॉ. इमाम उमेर अहमद इलियासी ने कहा था कि पिछली बार हिंसा की वजह से मुस्लिमों पर दाग लगा। इस यात्रा को कामयाब बनाकर दाग धोने का यह अच्छा समय है।

Dainik Bhaskar भास्कर ओपिनियन:नई इनकम टैक्स प्रणाली को आकर्षित बनाने की संभावना

पिछले कई सालों की तरह इस बार भी इनकम टैक्स में कुछ ख़ास होने वाला है, यही आस हर कोई लगाए हुए हैं। दरअसल, आम बजट और उसकी भाषा इतनी विकट और इतनी उलझाऊ होती है कि आम लोगों को इनकम टैक्स की राहत या उसमें बढ़ोतरी ही साफ- साफ़ समझ में आती है। बाक़ी हिस्सा किसी की समझ में सीधे- सीधे नहीं आता। यही वजह है कि बजट का समय आते ही हर कोई सिर्फ़ एक ही आस लगाने लगता है कि इस बार इन्कम टैक्स में राहत ज़रूर मिलेगी। चूँकि यह आस केवल सेलरीड व्यक्ति ही लगाता है इसलिए इसका हल्ला भी ज़्यादा होता है। दरअसल, सेलरीड व्यक्ति ही है जो ईमानदारी से इनकम टैक्स चुकाता है क्योंकि उसे टैक्स कटकर ही सेलेरी मिलती है। हालाँकि लगता नहीं है कि हर बार की तरह इस बार भी इनकम टैक्स में कुछ ख़ास राहत मिलने वाली है। दरअसल, सरकार मानती है कि अगर करदाता ही अपना कर्तव्य नहीं निभाएगा तो विकास कार्य कैसे होंगे? सही है, लेकिन टैक्स कलेक्शन को बढ़ाने के लिए राहत देकर उन लोगों को टैक्स देने के लिए आकर्षित किया जा सकता है जो अब तक सक्षम होते हुए भी इस परिधि से बाहर बने हुए हैं। जो अलग- अलग और नए- नए तरीक़े अपनाकर टैक्स की चोरी कर रहे हैं उनके खिलाफ कोई सख़्त मॉनिटरिंग बैठाकर भी आवक बढ़ाई जा सकती है। अगर ऐसा किया जाता है तो जोलोग ईमानदारी से वर्षों से टैक्स चुकाते आ रहे हैं, उन्हें राहत देकर खुश किया जा सकता है। वैसे सरकार ये सब तरीक़े भली भाँति जानती है लेकिन राहत देकर आई लक्ष्मी कौन ठुकराना चाहता है भला? अगर इस बार इन्कम टैक्स में कुछ किया जाता है तो संभावना सिर्फ़ इतनी है कि जो नई टैक्स प्रणाली है, उसे थोड़ा आकर्षक बना दिया जाएगा ताकि बचत वाली पुरानी टैक्स प्रणाली को पीछे धकेला जा सके और ज़्यादा से ज़्यादा आयकरदाताओं को नई प्रणाली अपनाने के लिए आकर्षित किया जा सके। इतना ज़रूर है कि किसानों को लुभाने के लिए इस बार के बजट में उनके लिए कई नए उपाय किए जासकते हैं। किसान सम्मान निधि को भी छह हज़ार रुपए से बढ़ाकर आठ या दस हज़ार रुपए सालाना किया जा सकता है।

Dainik Bhaskar 7 राज्यों में भारी बारिश का अलर्ट:UP-MP में जोरदार बारिश के चलते रेलवे ट्रैक डूबे; महाराष्ट्र के कई हिस्से हाई अलर्ट पर

देश के कई राज्यों में भारी बारिश जारी है। UP-MP में रविवार को हुई बारिश के चलते कई शहरों में एक से दो फीट तक पानी भर गया। उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में रेलवे ट्रैक डूब गया जबकि मध्य प्रदेश के बैतूल में बरबतपुर रेलवे स्टेशन के पास माचना नदी के ऊपर बना अप ट्रैक धंस गया है। वहीं महाराष्ट्र में मुंबई और तटीय कोंकण इलाकों समेत कई हिस्सों में भारी बारिश को देखते हुए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने रविवार को अधिकारियों को हाई अलर्ट पर रहने के निर्देश दिए। शिंदे ने कहा कि स्टेट डिजास्टर रिस्पॉन्स फोर्स, लोकल एडमिनिस्ट्रेशन और पुलिस को कहा गया है कि IMD से नियमित रूप से मौसम की जानकारी लेते रहें और नागरिकों को राहत देने के लिए उसी के अनुसार योजना बनानी चाहिए। कहां भारी और कहां बहुत भारी बारिश का अलर्ट बहुत भारी बारिश का अलर्ट: हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, गोवा भारी बारिश का अलर्ट: पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़, दिल्ली, राजस्थान, पश्चिम बंगाल, असम, ओडिशा, मेघालय, केरल, नगालैंड, त्रिपुरा, मिजोरम, मणिपुर, अरुणाचल प्रदेश, कर्नाटक तूफान और बिजली गिरने का अलर्ट: पंजाब, हरियाणा, चंडीगढ़, दिल्ली, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, बिहार, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, पुडुचेरी, महाराष्ट्र, गुजरात, छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश देशभर से बारिश की फोटोज... आगे कैसा रहेगा मौसम... मध्य प्रदेश: सीजन का पहला स्ट्रॉन्ग सिस्टम एक्टिव, 31 जिलों में अगले 3 दिन भारी बारिश का अलर्ट मध्यप्रदेश में सीजन का पहला स्ट्रॉन्ग सिस्टम एक्टिव है। अगले 3 दिन पूरे प्रदेश में तेज बारिश का अलर्ट है। रविवार को भोपाल और नर्मदापुरम में सुबह से कभी तेज कभी धीमी बारिश हो रही है। इंदौर समेत कुल 31 जिलों में तेज पानी गिरने की संभावना है। विदिशा, रायसेन, सीहोर, नर्मदापुरम, बैतूल, बुरहानपुर, खंडवा, देवास, नरसिंहपुर, छिंदवाड़ा, सिवनी, बालाघाट और पांढुर्णा जिलों में 24 घंटे के अंदर 4.5 से 8 इंच तक बारिश हो सकती है। पूरी खबर पढ़ें... बिहार: 12 जिलों में बारिश का अलर्ट, 23 जुलाई से मानसून के एक्टिव होने की संभावना बिहार में उमस भरी गर्मी से लोगों को राहत मिलने की उम्मीद है। मौसम विज्ञान केंद्र ने आज प्रदेश के 12 जिलों में बारिश का यलो अलर्ट जारी किया है। मौसम वैज्ञानिक के अनुसार रविवार से धीरे-धीरे मानसून एक्टिव होने लग

Dainik Bhaskar मानसून सत्र 22 जुलाई से-सबकुछ जो आप जानना चाहते हैं:पहले दिन इकोनॉमिक सर्वे, बजट समेत 6 नए बिल आएंगे; 22 दिन का एजेंडा

संसद का मानसून सत्र 22 जुलाई से शुरू हो रहा है। यह 12 अगस्त तक चलेगा। इन 22 दिनों में 19 बैठकें होंगी। मोदी सरकार 3.0 पहला आम बजट 23 जुलाई को पेश करेगी। एक दिन पहले सरकार इकोनॉमिक सर्वे लाएगी। इसके बाद 6 नए बिल पेश किए जाएंगे। जम्मू-कश्मीर का बजट भी पेश होगा। इन 22 दिनों में क्या-क्या होगा विस्तार से पढ़ें... मानसून सत्र क्या होता है संसद में एक साल में तीन सत्र होते हैं, पहला- बजट सत्र (फरवरी-मार्च), दूसरा- मानसून सत्र (जुलाई-अगस्त) और तीसरा- शीतकालीन सत्र (दिसंबर-जनवरी)। मानसून सत्र अक्सर सबसे छोटा होता है। जुलाई-अगस्त में देश में मानसून सीजन होता है, इसलिए इसे यह नाम दिया गया है। वैसे तो दो सत्रों के बीच का 6 महीने से ज्यादा समय नहीं हो सकता है, लेकिन मानसून सत्र बजट सत्र खत्म होने के 2 महीने के बाद ही बुलाया जाता है। संसद की कार्यवाही पर हर मिनट का खर्च करीब 2.5 लाख रुपए संसद की एक मिनट की कार्यवाही पर करीब ढाई लाख रुपए खर्च होते हैं। यानी हर घंटे से हिसाब से यह रकम 1.5 करोड़ रुपए होती है। यह खर्चा सांसदों को मिलने वाली सैलरी, अलाउंस, संसद सचिवालय पर होने वाले खर्च, सचिवालय स्टाफ की सैलरी और सांसदों की सुविधाओं पर खर्च होता है। यानी जब-जब हंगामे के कारण संसद स्थगित होती है तो यह नुकसान आम जनता का होता है, क्योंकि वह टैक्स के रूप में लाखों रुपए देती है। संसदीय एजेंडा तय करने के लिए 14 सांसदों की कमेटी संसदीय एजेंडा तय करने के लिए लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने बिजनेस एडवाइजरी कमेटी (BAC) बनाई है। स्पीकर की अध्यक्षता वाली समिति में सरकार और विपक्ष से 14 सांसद शामिल हैं।इनमें सबसे ज्यादा भाजपा के 6 सांसद- अनुराग ठाकुर, निशिकांत दुबे, बैजयंत पांडा, पीपी चौधरी, संजय जयसवाल , भर्तृहरि महताब। कांग्रेस के 2 सांसद- गौरव गोगोई, कोडिकुन्निल सुरेश। टीएमसी के 1-सुदीप बंद्योपाध्याय, टीडीपी के 1-लवू श्री कृष्ण देवरायलु, जेडी-यू के 1- दिलेश्वर कामैत, डीएमके के 1- दयानिधि मारन, शिवसेना-यूबीटी के 1- अरविंद सावंत और एसपी के लालजी वर्मा शामिल हैं। 5 मुद्दे जिन पर हंगामा होना तय 1. NEET-UG पेपर लीक : NEET-UG पेपर लीक केस में CBI अब तक 12 गिरफ्तारियां कर चुकी है। 7 राज्यों की पुलिस ने 45 आरोपियों को अरेस्ट किया है। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर NTA स्टेट, सिटी और सेंटर वाइज रिजल्ट डिक

Dainik Bhaskar अजित पवार ने कहा- NCP महाराष्य निकाय चुनाव अकेले लड़ेगी:बोले- लोकसभा गठबंधन में लड़ा था, अब विधानसभा भी गठबंधन में लड़ेंगे

महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम अजित पवार ने रविवार (21 जुलाई) को कहा कि राज्य में होने वाले नगर निकाय चुनाव में उनकी पार्टी NCP (अजित गुट) अकेले चुनाव लड़ेगी। पवार ने यह बात पुणे यूनिट को संबोधित करते हुए कही। उन्होंने कहा कि हमने लोकसभा चुनाव गठबंधन में लड़ा था और विधानसभा चुनाव भी गठबंधन में लड़ेंगे। मैं यह घोषणा करना चाहता हूं कि पार्टी नगर निगम चुनाव अकेले लड़ेगी। उन्होंने कहा कि NCP अपने बल पर निकाय चुनाव लड़ेगी, इसलिए स्थानीय नेताओं और कार्यकर्ताओं को अपने-अपने क्षेत्र में पार्टी को मजबूत करने के लिए काम करना चाहिए। अजित पवार की यह घोषणा पिंपरी चिंचवाड़ में NCP (अजित) के स्थानीय नेताओं के एक वर्ग के पार्टी छोड़कर शरद पवार गुट में शामिल होने के बाद आई। लोकसभा चुनाव में पार्टी को मिली एक सीट लोकसभा चुनाव में NCP (अजित) को केवल सीट हासिल हुई है। महाराष्ट्र में इस साल विधानसभा चुनाव भी होने हैं। अजित की पार्टी शिवसेना और भाजपा के साथ गठबंधन में है। तीनों ने गठबंधन में लोकसभा चुनाव लड़ा था और अब विधानसभा चुनाव भी साथ ही लड़ेगी। NCP (अजित) ने अकेले निकाय चुनाव लड़ने की बात कही है, लेकिन अभी चुनाव की तैयारियों को अंतिम रूप नहीं दिया गया है। पवार ने कहा कि पिंपरी चिंचवाड़ के कुछ स्थानीय नेताओं ने यह सोचकर पार्टी छोड़ दी कि NCP के दूसरे पॉलिटिकल दलों के साथ गठबंधन के कारण उनके विकास में बाधाएं आ रही हैं। उन्होंने कहा कि स्थानीय नेता चले गए, लेकिन पार्टी के अधिकांश कार्यकर्ता NCP के साथ बने हुए हैं। उन्होंने कहा कि गठबंधन में शामिल होने का निर्णय पूरी तरह राज्य के विकास के इरादे से लिया गया है। वहीं, NCP (पुणे यूनिट) चीफदीपक मानकर ने पार्टी छोड़ने की बात से इनकार किया है शरद गुट बोला- भाजपा चाहती है कि अजित महायुति छोड़े ​​​​​​​​​​​​​​NCP (शरदचंद्र पवार) के प्रवक्ता क्लाइड क्रैस्टो ने दावा किया कि भाजपा अजित पवार गुट से महाराष्ट्र में 'महायुति' गठबंधन छोड़ने को कह रही है। क्रैस्टो ने (17 जुलाई) को RSS से जुड़ी एक मराठी साप्ताहिक मैगजीन में छपी रिपोर्ट के हवाले से ये बयान दिया है। क्रैस्टो ने कहा, 'भाजपा को एहसास हो गया है कि अजित पवार के साथ गठबंधन में पार्टी चुनाव नहीं जीत सकती है।' दरअसल, साप्ताहिक मैग्जीन 'विवेक' की रिपोर्ट में कहा गया है कि 2023 में NCP के साथ गठबंधन क

Dainik Bhaskar मॉर्निंग न्यूज ब्रीफ:बाइडेन राष्ट्रपति चुनाव नहीं लड़ेंगे; इकोनॉमिक सर्वे आज, बजट कल; केंद्रीय मंत्री बोले- कांवड़ रूट पर पहचान लिखने का फैसला वापस हो

नमस्कार, कल की बड़ी खबर अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव से जुड़ी रही, जो बाइडेन ने डेमोक्रेटिक पार्टी के कैंडिडेट के तौर पर अपनी उम्मीदवारी वापस ले ली है। एक खबर कांवड़ यात्रा को लेकर यूपी सरकार के आदेश से जुड़ी रही, NDA सरकार के मंत्री ने इस आदेश को वापस लेने की बात कही है। लेकिन कल की बड़ी खबरों से पहले आज के प्रमुख इवेंट्स, जिन पर रहेगी नजर... अब कल की बड़ी खबरें... 1. बाइडेन राष्ट्रपति चुनाव नहीं लड़ेंगे, डेमोक्रेटिक पार्टी से कमला हैरिस की उम्मीदवारी का समर्थन किया जो बाइडेन अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव नहीं लड़ेंगे। उन्होंने डेमोक्रेटिक पार्टी के कैंडिडेट के तौर पर अपनी उम्मीदवारी वापस ले ली है। 81 साल के बाइडेन ने एक लेटर में कहा कि उन्होंने देश और पार्टी के हित में ये फैसला लिया है। उन्होंने डेमोक्रेटिक पार्टी के अगले प्रेसिडेंशियल कैंडिडेट के तौर पर उपराष्ट्रपति कमला हैरिस के नाम का समर्थन किया है। दरअसल, अमेरिका में 28 जून को हुई प्रेसिडेंशियल डिबेट के बाद डेमोक्रेटिक पार्टी के नेता मांग कर रहे थे कि वह उम्मीदवारी छोड़ दें। पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने भी बाइडेन को प्रेसिडेंशियल रेस से बाहर होने को कहा था। इसके बाद बाइडेन ने कहा था कि अगर डॉक्टर मुझे अनफिट या किसी बीमारी से ग्रसित पाते हैं तो मैं प्रेसिडेंशियल रेस से बाहर हो जाऊंगा। बाइडेन 18 जुलाई को कोरोना पॉजिटिव हुए थे। अमेरिका के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ: अमेरिकी के इतिहास में ऐसा पहली बार है, जब कोई मौजूदा राष्ट्रपति इतनी देर से चुनावी रेस से बाहर हुआ है। कमला हैरिस समेत कई दावेदारों के पास डेमोक्रेटिक नेशनल कन्वेंशन के करीब 4 हजार डेलीगेट्स का समर्थन हासिल करने के लिए कुछ ही हफ्ते होंगे। कन्वेंशन 19 अगस्त से 22 अगस्त तक शिकागो में होना है। माना जा रहा है कि डेमोकेट्रिक पार्टी जल्द ही कमला हैरिस को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित कर सकती है। पूरी खबर यहां पढ़ें... 2. सर्वदलीय बैठक में 44 पार्टियां शामिल हुईं, कांग्रेस ने डिप्टी स्पीकर पद की मांग रखी संसद के मानसून सत्र और बजट से पहले पार्लियामेंट हाउस में ऑल पार्टी मीटिंग हुई। इसमें BJP समेत 44 पार्टियों ने हिस्सा लिया। राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में हुई बैठक में कांग्रेस, AAP, AIMIM, YSRCP ने भी हिस्सा लिया। कांग्रेस ने लोकसभा के डिप्टी स्पीकर का पद मांगा

Dainik Bhaskar सावन आज से शुरू:उज्जैन महाकाल मंदिर में 3 लाख श्रद्धालु आने की उम्मीद; वाराणसी के काशी विश्वनाथ मंदिर में नए प्रवेश द्वार बनाए गए

सावन का आज पहला सोमवार है। सभी 12 ज्योतिर्लिंगों में इसको लेकर तैयारियां पूरी हो चुकी हैं। मध्यप्रदेश के उज्जैन महाकाल मंदिर में सावन के पहले सोमवार के दिन 3 लाख श्रद्धालु आने की उम्मीद है। शाम 4 बजे बाबा महाकाल की सवारी निकाली जाएगी। वहीं, यूपी के वाराणसी में विश्वनाथ मंदिर में प्रवेश के लिए दो-तीन नए रास्ते बनाए गए हैं। सुरक्षा के लिहाज से सीसीटीवी कैमरों की संख्या बढ़ाई गई है। पुलिसकर्मियों के वायरलेस वॉकी-टॉकी सेट बढ़ाए गए हैं। इसको लेकर अधिकारियों की ब्रीफिंग की गई है। सावन के पहले सोमवार की तस्वीरें... अब अलग-अलग राज्यों से जुड़ी खबरें देखिए... उत्तर प्रदेश: करीब 1.5 करोड़ भक्त जलाभिषेक करेंगे हरिद्वार से गंगा जल लेकर भोले भक्त मंदिरों की तरफ बढ़ रहे हैं। पूरे यूपी के शिव मंदिरों में करीब 1.5 करोड़ भक्त जलाभिषेक करेंगे। काशी विश्वनाथ में 10 लाख भक्तों के पहुंच रहे हैं। कल आधी रात 2.30 बजे से दर्शन-पूजन शुरू हो गया है। बाबा भोलेनाथ के दर्शन 24 घंटे होंगे। MP: महाकाल मंदिर में 1 घंटे में दर्शन होंगे उज्जैन के महाकाल मंदिर में कल रात से ही श्रद्धालुओं की लंबी-लंबी कतारें लगी हुई हैं। मंदिर प्रशासन का दावा है कि भक्तों को 1 घंटे में दर्शन हो रहे हैं। यानी कतार में लगे भक्त को गर्भगृह तक आने और यहां से आगे जाने में 1 घंटे का ही समय लग रहा है। इस बार श्रावण में 5, भादौ में 2 सवारी निकाली जाएंगी। शाही सवारी 2 सितंबर को निकलेगी। बिहार: बेगूसराय में श्रावणी मेले का आयोजन होगा बेगूसराय के गढ़पुरा स्थित बाबा हरीगिरी धाम में श्रावणी मेले का आयोजन किया जाता है। बाबा हरीगिरी धाम में पूरे सावन माह में 20 लाख से भी ज्यादा शिव भक्त जुटते हैं। यहां सिमरिया गंगा तट और झमटिया गंगा तट से बड़ी संख्या में साधारण बम और डाक बम जल लेकर जलाभिषेक करने आते हैं। इसको लेकर सिमरिया और झमटिया घाट से लेकर मंदिर तक व्यापक तैयारी की गई है। सिमरिया घाट में जहां प्रशासन और गोताखोर अलर्ट पर हैं। वहीं, रास्ते में भी जगह-जगह तैयारी की जा रही है। मंदिर परिसर में बैरिकेडिंग की गई है। सावन से जुड़े ये ग्राफिक्स भी पढ़ें ....

Dainik Bhaskar 100 किलोमीटर दूर तक बच्चों को देखने जाते हैं डॉक्टर-नर्स:अस्पताल ने मां के स्पर्श से किया इलाज, 90% प्रीमैच्योर बच्चें स्वस्थ, 3 साल में 2600 बच्चों की जान बचाई

उत्तर प्रदेश के नेपाल से लगे बहराइच में महाराजा सुहेलदेव स्वशासी राजकीय मेडिकल कॉलेज ने 3 साल में 2600 से ज्यादा प्रीमैच्योर बच्चों की जान बचाई है। ये बच्चे 36 हफ्ते से पहले पैदा हुए और जन्म के समय इनका वजन 1800 ग्राम से भी कम था। मेडिकल कॉलेज के सिक एंड न्यूबॉर्न केयर यूनिट के इंचार्ज डॉ. असद अली भी अचंभे में हैं। वे कहते हैं कि मां की ममता में किसी भी मशीन से ज्यादा शक्ति होती है। मां का स्पर्श प्रीमैच्योर बच्चे के लिए दवा जैसा है। हमने इलाज में इसी ममता का इस्तेमाल किया। अगस्त 2021 में हमने एक अमेरिकी संस्था के साथ मिलकर जन्म के समय अंडरवेट बच्चों को कंगारू थेरेपी के जरिए बचाने की कोशिश की। 3 साल में हमने ऐसे 90% बच्चों को बचा लिया। इस प्रोजेक्ट का नेतृत्व कर रहे अस्पताल के प्रिंसिपल डॉ. संजय खत्री कहते हैं कि हर महीने हम औसत 65 प्रीमैच्योर बच्चों की देखभाल कर रहे हैं। इस प्रोजेक्ट के मुख्य तौर पर 4 हिस्से हैं। पहला अस्पताल में मां की उचित देखभाल, कंगारू केयर, फोन कॉल से परामर्श और घर जाकर बच्चों की स्वास्थ्य जांच। वे कहते हैं, हमने कंगारू मेडिकल केयर वॉर्ड बनाया है। ‘कवच’ के जरिए मां बच्चे को सीने से चिपकाए रहती है नेपाल बॉर्डर के पास के एक गांव में रहने वाली रूपा 28 हफ्ते में पैदा हुए अपने प्रीमैच्योर बच्चे को ‘कवच’ के जरिए हर वक्त सीने से चिपकाए रहती है। यह करीब वैसी ही थैली है, जैसी मादा कंगारू के पास होती है, जिसमें वह अपने शिशुओं को रखती है। अस्पताल से उसके घर की दूरी करीब 100 किमी है। नर्स मां को बच्चे का तापमान, पल्स और अन्य जरूरी संकेतों को रिकॉर्ड करना भी सिखाती है। वह मां को ब्रेस्ट फीडिंग से लेकर हर उन संकेतों को समझना सिखाती है, जो बच्चे की सेहत के लिए जरूरी हैं, ताकि मां आपात स्थिति को समझ सके।

Dainik Bhaskar RSS की गतिविधियों में भाग ले सकेंगे सरकारी कर्मचारी:केंद्र ने 1966 में लगा बैन हटाया; रमेश बोले- नौकरशाही निक्कर में भी आ सकती है

केंद्र सरकार ने सरकारी कर्मचारियों के राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की गतिविधियों में शामिल होन पर लगे बैन को हटाया है। 1966 में तत्कालीन कांग्रेस की सरकार ने यह बैन लगाया था। 58 साल बाद केंद्र सरकार ने इसे रद्द किया। रविवार (21 जुलाई) की देर रात कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने एक्स पर पोस्ट में लिखा कि PM मोदी और RSS के बीच संबंधों में कड़वाहट आई है। 58 साल का प्रतिबंध हटाया गया है। मेरा मानना है कि नौकरशाही अब निक्कर में भी आ सकती है। रमेश ने कार्मिक, लोक शिकायत और पेंशन मंत्रालय का 9 जुलाई को जारी कार्यालय के मेमोरेंडम को शेयर किया है। इसमें सरकारी कर्मचारियों के RSS की गतिविधियों में भाग लेने से संबंधित जानकारी दी गई है। रमेश ने 1966 के आदेश की फोटो भी शेयर की है। रमेश के इस दावे पर BJP आईटी सेल के चीफ अमित मालवीय ने केंद्र सरकार के आदेश का स्क्रीनशॉट शेयर किया। उन्होंने लिखा 58 साल पहले जारी एक असंवैधानिक निर्देश को मोदी सरकार ने वापस ले लिया है। जयराम रमेश ने लिखी यह बात... रमेश ने लिखा, ''फरवरी 1948 में गांधीजी की हत्या के बाद सरदार पटेल ने RSS पर प्रतिबंध लगा दिया था। इसके बाद अच्छे आचरण के आश्वासन पर प्रतिबंध को हटाया गया। इसके बाद भी RSS ने नागपुर में कभी तिरंगा नहीं फहराया। 1966 में, RSS की गतिविधियों में भाग लेने वाले सरकारी कर्मचारियों पर प्रतिबंध लगाया गया था - और यह सही निर्णय भी था। यह 1966 में बैन लगाने के लिए जारी किया गया आधिकारिक आदेश है।'' रमेश ने आगे लिखा, ''4 जून 2024 के बाद स्वयंभू नॉन-बायोलॉजिकल प्रधानमंत्री और RSS के बीच संबंधों में कड़वाहट आई है। 9 जुलाई 2024 को, 58 साल का प्रतिबंध हटा दिया गया जो अटल बिहारी वाजपेयी के प्रधानमंत्री के कार्यकाल के दौरान भी लागू था। मेरा मानना है कि नौकरशाही अब निक्कर में भी आ सकती है।'' असंवैधानिक आदेश को मोदी सरकार ने वापस लिया- अमित मालवीय BJI IT सेल हेड अमित मालवीय ने लिखा- , ''58 साल पहले 1966 में जारी असंवैधानिक आदेश जिसमें RSS की गतिविधियों में भाग लेने वाले सरकारी कर्मचारियों पर प्रतिबंध लगाया गया था। इसे मोदी सरकार द्वारा वापस ले लिया गया है। इस आदेश को पहले ही पारित नहीं किया जाना चाहिए था। कथित आदेश में क्या लिखा है? रमेश के शेयर आदेश में लिखा है- "दिनांक 30 नवबंर 1966, 25 जुलाई 1970 और 28 अक्टूबर 1980 के

Dainik Bhaskar ​​​​​​​मेरा दम घुटने लगा, थोड़ी देर होती तो मर जाती..:रीवा में महिलाओं पर उड़ेल दी मुरम, पीड़ित बोलीं-वे धमकी दे रहे, जिंदा नहीं छोड़ेंगे

'मुझे पूरा मुरम में दफन कर दिया। मैं नाक तक मुरम के ढेर में दब गई। सांस लेने में दिक्कत हो रही थी। अगर 5 मिनट के अंदर मुझे नहीं निकाला जाता तो दम घुट जाता और मैं मर जाती। दो घंटे बाद होश आया था। पूरा परिवार डरा-सहमा हुआ है। घर से निकलने में भी डर लग रहा है। जिंदा दफन करने की कोशिश के बाद भी हमें धमकी दी गई है। वो हमें जिंदा नहीं छोड़ेंगे।' ये कहना है ममता पांडेय नाम की उस महिला का। जिस पर रविवार को रीवा के गंगेव चौकी गांव में रास्ता बनाने के विवाद में डंपर वाले ने मुरम पलट दी। ममता के साथ ही आशा पांडेय भी मुरम में दब गई थी। ग्रामीणों ने फावड़े से मुरम हटाकर दोनों को बाहर निकाला। इस घटना का वीडियो भी सामने आया है। आइए जानते हैं सिलेसिलेवार पूरा मामला.. दो महिलाओं पर पलट दी मुरम रीवा में जमीन के झगड़े में एक पक्ष के लोगों ने दूसरे पक्ष की दो महिलाओं को जिंदा दफन करने की कोशिश की। आरोपियों ने हाइवा से महिलाओं पर मुरम डाल दी। इससें एक महिला कमर तक और दूसरी गले तक मुरम के ढेर में दब गई। इसमें एक महिला बेहोश हो गई थी। दोनों पक्षों का पारिवारिक जमीन का विवाद है। दोनों के घर आसपास हैं। गोकर्ण प्रसाद पांडेय और महेंद्र प्रसाद पांडेय जमीन पर रास्ता बनाना चाह रहे है। जीवेश कुमार पांडेय और शिवेश कुमार पांडेय इसके विरोध में है। विवाद इसी बात का है। रविवार को रास्ता बनाने की कोशिश के दौरान मारपीट हुई। ममता पांडेय (पत्नी जीवेश) और आशा पांडेय (पत्नी शिवेश) ने भी रास्ता बनाने का विरोध किया और मुरम लेकर आए हाइवा के पीछे बैठ गई। ड्राइवर ने मुरम उन दोनों पर खाली कर दी। जिससे वे दब गई। गोकर्ण प्रसाद पांडेय और महेंद्र प्रसाद पांडेय के कहने पर मढ़ी गांव का ट्रक मालिक राजेश सिंह मुरम लेकर आया था। महिला बोली- वे हमें जिंदा नहीं छोड़ेंगे पीड़ित आशा पांडेय का कहना है कि आरोपी दबंग है और वह बार-बार धमकी दे रहे हैं कि इस बार तो जिंदा बच गई हो अगली बार नहीं बचोगी। मौका मिलते ही अपनी ताकत का एहसास करवाएंगे। तुम्हें जिंदा नहीं छोड़ेंगे। मुझे गहरा सदमा लगा है। मैं करीब 2 घंटे तक बेहोश रही। मुझे अस्पताल में भर्ती करवाया गया। बाटल और इंजेक्शन लगाए गए, तब जाकर होश आया। अभी भी पूरे शरीर में दर्द है। चलते नहीं बन रहा। खड़ी होती हूं तो ऐसा लगता है कि चक्कर आ जाएगा। मुझे अभी भी डर लग रहा है। वह लोग कुछ भी कर सक

Dainik Bhaskar आर्मी बोली- सेना में अभी 1 लाख अग्निवीर एनरोल्ड:70 हजार यूनिटों में पोस्टेड, 2024-25 के लिए 50 हजार वैकेंसी निकाली

इंडियन आर्मी में अभी तक 1 लाख अग्निवीर शामिल किए जा चुके हैं। यह जानकारी लेफ्टिनेंट जनरल सी.बी. बोनप्पा ने रविवार को दी। उन्होंने कहा कि 70 हजार यूनिटों में इन सभी अग्निवीरों की पोस्टिंग हुई है। इनमें करीब 200 महिलाएं भी शामिल हैं।साथ ही उन्होंने बताया कि साल 2024-25 के लिए 50 हजार वैकेंसी निकाली गई हैं। इसकी प्रक्रिया जारी है। बोनप्पा ने बताया कि जून 2022 में योजना शुरू की गई। हमारे पास पहला बैच था, जिसे दिसंबर 2022 से जनवरी 2023 के बीच भर्ती किया गया था। वे बहुत अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं। अग्निवीर भी सामान्य सैनिकों की तरह काम कर रहे लेफ्टिनेंट बोनप्पा ने कहा कि ये अग्निवीर सभी तरह के ऑपरेशनल और प्रोफेशनल ड्यूटी को उसी तरह से निभा रहे हैं, जैसे कि कोई अन्य सिपाही निभाता है। उनके मुताबिक ये अग्निवीर पूरी तरह से अपने अपनी यूनिट में घुल मिल चुके हैं। वह वही यूनिफॉर्म पहनते हैं और समान ड्यूटी निभाते हैं। पूर्व अग्निवीरों को CISF, BSF में 10% आरक्षण अग्निवीर पर केंद्र सरकार के फैसले के 2 साल बाद CISF और BSF ने 11 जुलाई को पूर्व अग्निवीरों को 10% आरक्षण देने का ऐलान किया। इसके लिए तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। जल्द ही नियम लागू किए जाएंगे। BSF डीजी नितिन अग्रवाल और CISF डीजी नीना सिंह ने यह जानकारी दी। दरअसल 18 जून 2022 को गृह मंत्रालय ने इस संबंध में नोटिफिकेशन जारी किया था। इसमें कहा था कि CAPF और असम राइफल्स में पूर्व अग्निवीरों को 10% आरक्षण दिया जाएगा। CAPF के अंतर्गत BSF, CRPF, ITBP, SSB और CISF ऑर्म्ड आती हैं। जानिए क्या है अग्निपथ स्कीम... सरकार ने 2022 में अग्निपथ स्कीम लॉन्च की थी। इसके तहत आर्मी, नेवी और एयर फोर्स में चार साल के लिए नौजवानों को कॉन्ट्रैक्ट पर भर्ती किया जाता है। 4 साल में छह महीने की ट्रेनिंग भी शामिल है। चार साल बाद अग्निवीरों को उनकी कार्यक्षमता के आधार पर रेटिंग दी जाएगी। इसी मेरिट के आधार पर 25% अग्निवीरों को परमानेंट सर्विस में लिया जाएगा। बाकी लोग वापस सिविल दुनिया में आ जाएंगे। इस स्कीम में ऑफिसर रैंक के नीचे के सैनिकों की भर्ती होगी। यानी इनकी रैंक पर्सनल बिलो ऑफिसर रैंक यानी PBOR के तौर पर होगी। इन सैनिकों की रैंक सेना में अभी होने वाली कमीशंड ऑफिसर और नॉन-कमीशंड ऑफिसर की नियुक्ति से अलग होगी। साल में दो बार रैली के जरिए भर्ती की ज